उत्तराखंड राज्य में चार धाम यात्रा की शुरुआत होने के बाद घोड़ा- खच्चर व्यापारी यहां यात्रियों को लाने व ले जाने के लिए अपने-अपने घोड़ा और खच्चर का प्रयोग करते हैं।बता दे कि केदारनाथ यात्रा के लिए 469 घोड़े और खच्चर आरोग्य पाए गए हैं और 215 संचालकों का चालान भी किया गया है। यात्रा का शुभारंभ होने के बाद तीर्थ यात्रियों की भारी भीड़ यहां देखने को मिली लेकिन इस दौरान घोड़ा – खच्चर व्यापारी अपने मुनाफे के लिए घोड़ा और खच्चरों पर काफी अत्याचार करते रहे और इससे उनकी दयनीय हालात हो रही है।
केदारनाथ यात्रा के लिए 469 घोड़े तथा खच्चर अयोग्य पाए गए जबकि इस दौरान 215 मालिकों एवं संचालकों का चालान भी किया गया तथा 16 व्यक्तियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई हैं।यात्रा के मार्ग पर निरीक्षण के दौरान जो घोड़े तथा खच्चर बीमार एवं घायल हुए हैं ऐसे 3730 घोड़े और खच्चर का उपचार किया गया है। घोड़ा और खच्चर यात्रियों को भारी पीड़ा मे ढो रहे हैं और संचालक उनके साथ क्रूर व्यवहार कर रहे हैं ।यात्रा रूट पर लगातार घोड़े और खच्चरो की चेकिंग की जा रही है जो घोड़ा या खच्चर घायल एवं लंगड़ा है उसको यात्रा मार्ग से हटाकर उपचार के लिए भेजा जा रहा है। बता दे कि यहां घोड़ा और खच्चर पर अत्याचार करने के लिए 16 संचालकों पर एफआईआर दर्ज की गई है।